
सितंबर तिमाही BSNL के लिए एक और घाटे वाली अवधि रही, हाल के तिमाहियों में देखी गई गिरावट को बढ़ाते हुए। राजस्व में वर्ष-दर-वर्ष सुधार हुआ, लेकिन बढ़ती परिचालन लागत और उच्च मूल्यह्रास ने लाभप्रदता पर दबाव बनाए रखा।
भारत संचार निगम लिमिटेड ने Q2 FY26 में ₹1,357 करोड़ का शुद्ध घाटा दर्ज किया। यह पिछले तिमाही के ₹1,048 करोड़ के घाटे और पिछले वर्ष की इसी अवधि के ₹1,241.7 करोड़ के घाटे की तुलना में है।
कंपनी के मूल्यह्रास और अमोर्टाइजेशन खर्चों में तेज वृद्धि हुई, जो ₹2,477 करोड़ तक पहुंच गई, जो वर्ष-दर-वर्ष 57% और क्रमिक रूप से 14.5% की वृद्धि है। नेटवर्क परिचालन लागत और वित्त खर्च भी बढ़े, जिससे शुद्ध घाटा और बढ़ा।
परिचालन से राजस्व ₹5,166.7 करोड़ पर खड़ा था, जो क्रमिक रूप से 2.8% की वृद्धि और वर्ष-दर-वर्ष 6.6% की वृद्धि को दर्शाता है। यह वृद्धि मुख्य रूप से बीएसएनएल की 4G मोबाइल सेवाओं के प्रारंभिक चरण के विस्तार द्वारा समर्थित थी, जो कई सर्किलों में फैली हुई थी।
सितंबर के अंत तक BSNL के पास 92.3 मिलियन मोबाइल सब्सक्राइबर थे, जो बाजार आकार में रिलायंस जियो, भारती एयरटेल और वोडाफोन आइडिया के पीछे है। कंपनी ने वित्तीय वर्ष 26 के लिए ₹27,500 करोड़ का राजस्व लक्ष्य निर्धारित किया है, जबकि वित्तीय वर्ष 25 में लगभग ₹23,000 करोड़ हासिल किया गया था।
BSNL के दूसरी तिमाही के प्रदर्शन ने मामूली राजस्व वृद्धि दिखाई, लेकिन उच्च लागत और बढ़ते मूल्यह्रास से निरंतर दबाव बना रहा। आने वाले तिमाहियों में कंपनी की वित्तीय प्रगति सब्सक्राइबर जोड़ने और इसके राष्ट्रीय 4G रोलआउट में प्रगति पर निर्भर करेगी।
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प्रकाशित: 19 Nov 2025, 10:33 pm IST

Team Angel One
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